नई दिल्ली. नेशनल काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग ने जम्मू और कश्मीर में अलगाववादी राजनीति के जाने और विशेष राज्य के दर्जे को खत्म करने की जानकारी कक्षा 12 राजनीति विज्ञान की पाठ्यपुस्तक के अध्याय में संशोधित की है. राजनीति विज्ञान की किताब में 2020 एकेडमिक सत्र से छात्र जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बारे में पढ़ेंगे.
कश्मीर मूल रूप से भारत का अंग है. बीजेपी सरकार ने ‘एक देश एक कानून’ के अन्तर्गत अनुच्छेद 370 को हटाया है. आपको बता दें मोदी सरकार ने 5 अगस्त 2019 को जम्मू कश्मीर से आर्टिकल 370 को हटा दिया था अब जम्मू कश्मीर और लद्दाख अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेश है. इसके लिए गृह मंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में अनुच्छेद 370 हटाने के लिए संकल्प पेश किया था. प्रस्ताव रखने के बाद राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने अनुच्छेद 370 हटाने के लिए संविधान आदेश 2019 के तहत अधिसूचना जारी कर दी थी.
क्यों शामिल की गई ये जानकारी ?
यह कोर्स NCERT के राजनीति विज्ञान की 12वीं की किताब में शामिल किया गया है. बतादें कि राजनीति विज्ञान की पुस्तक में क्षेत्रीय आकांक्षाएं विषय का चैप्टर है, इसी में आर्टिकल 370 के बारे में जानकारी दी गई है. इसमें लिखा गया है कि आर्टिकल 370 की वजह से ही जम्मू-कश्मीर के लोगों दोहरी नागरिकता दी गयी थी. जिसके चलते पड़ोसी देश पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर में अलगाववाद और आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा था.इसमें यह जानकारी भी दी गई है कि महबूबा मुफ्ती के नेतृत्व वाली सरकार के दौरान आतंकवाद और अलगाववाद को सबसे ज्यादा बढ़ावा मिला था. साथ ही जम्मू-कश्मीर में बुरे हालातों के कारण साल 1990 में कश्मीरी पंडितों को कश्मीर छोड़ना पड़ा था. यहां की राज्य सरकारें आतंकवाद को बढ़ावा देती रहीं और कई सालों तक यहां तनाव व्याप्त रहा. साल 1947 में आजादी मिलने से पहले कश्मीर के एक बड़े हिस्से पर पाकिस्तान ने कब्जा जमा लिया, जिसे आज की तारीख में पाकिस्तान के कब्जे वाला कश्मीर कहा जाता है.